धनबाद (झारखंड)। प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी ने शुक्रवार को धनबाद में 35 हजार 700 करोड़ की योजनाओं का उद्घाटन-शिलान्यास किया। इनमें हर्ल सिदंरी, मोहनपुर हंसडीहा नयी रेललाइन, देवघर-डिब्रुगढ़ ट्रेन, टोरी शिवपुर बिरादरी रेल लाइन और एनटीपीसी एसएसटीपी चतरा समेत अन्य योजनाएं शामिल हैं। इस दौरान उन्होंने नई ट्रेनों को वर्चुअली हरी झंडी दिखाकर रवाना किया।
प्रधानमंत्री ने धनबाद जिले के सिंदरी में हर्ल उर्वरक संयंत्र का लोकार्पण करने के बाद कहा कि मैंने वर्ष 2018 में बंद पड़े इस खाद कारखाने को चालू करने का संकल्प लिया था। मैंने आपसे कहा था कि इस कारखाने को चालू करवाऊंगा। आज इसका लोकार्पण हुआ है। ये मोदी की गारंटी थी और आज ये गारंटी पूरी हुई। मोदी ने हर्ल के सीसीआर का निरीक्षण करने के बाद प्लांट में काम करने वाले 47 मजदूरों से मुलाकात की और उनसे बातचीत की।
पीएम मोदी ने कहा कि आज झारखंड को 35 हजार करोड़ रुपये से अधिक की योजनाओं का उपहार मिला है। मैं अपने किसान भाइयों को, आदिवासी समाज के लोगों को और झारखंड की जनता को इन योजनाओं के लिए बहुत-बहुत बधाई देता हूं। उन्होंने कहा कि इससे न सिर्फ विदेशी मुद्रा की बचत होगी, बल्कि जो पैसे बचेंगे, उसे किसानों के हित में खर्च किया जा सकेगा। साथ ही कहा कि आज सिर्फ सिंदरी कारखाने की ही शुरुआत नहीं हुई है, बल्कि रोजगार के हजारों नए अवसरों की भी शुरुआत हुई है।
प्रधानमंत्री ने कहा कि वर्तमान में 360 लाख मीट्रिक टन यूरिया का उत्पादन हो रहा है। इससे किसान आत्मनिर्भर बन रहे हैं। वर्ष 2014 में जब मैं सरकार में आया, तो उस समय 225 लाख मीट्रिक टन यूरिया का भारत में उत्पादन होता था। उन्होंने कहा कि यूरिया का आयात विदेश से करना पड़ता था, जिससे देश को आर्थिक नुकसान होता था। पिछले 10 वर्षों में रामागुंडम गोरखपुर बरौनी खाद कारखाने की शुरुआत हुई। आज इसमें सिंदरी का नाम जुड़ गया। एक से डेढ़ साल में तालचर में खाद कारखाना की शुरुआत होगी। उन्होंने कहा कि उन्हें पूरा विश्वास है कि उस कारखाने के लोकार्पण का आशीर्वाद भी जनता उन्हें ही देगी।
2047 तक विकसित भारत बनाने का लक्ष्य
पीएम मोदी ने कहा कि देश आत्मनिर्भरता की ओर बढ़ रहा है। आगामी 2047 तक विकसित भारत बन जाएगा। आज के समय में भारत 8.4 प्रतिशत की दर से विकास की ओर बढ़ रहा है। उन्होंने कहा कि झारखंड खनिज से संपन्न राज्य है। अब लोग इसे किसानों का राज्य भी मानेंगे। क्योंकि, यहां के किसान भी जल्द आत्मनिर्भर होंगे। अपनी जमीन से बेहतर पैदावार लेंगे। केंद्र सरकार हर तरफ से झारखंड को भी सहयोग कर रही है।
मोदी ने कहा कि सरकार ने जो संकल्प लिया वो पूरा किया। पिछले कुछ सालों में सरकार ने यूरिया का उत्पादन बढ़ाने पर बल दिया, जिसमें सफलता भी मिली। इसके लिए रामकुंडम समेत कई इलाकों में कारखाने शुरू किये गये। ट्रेन की क्षेत्र में भी झारखंड के यात्रियों को कई सुविधाएं मिलेगी। इससे कनेक्टिविटी बढेगी। इससे राज्य की क्षेत्रीय कनेक्टिविटी के साथ आर्थिक गति मिलेगी। 2047 के पहले भारत को विकसित बनाने का संकल्प है।
झारखंड के लिए केंद्र सरकार लगातार प्रयासरत
मोदी ने कहा कि पिछले 10 वर्षों में जनजातीय समाज गरीबों युवाओं और महिलाओं को अपने सर्वोच्च प्राथमिकता बनाकर झारखंड के लिए दिया है। साथ ही विश्वास दिलाया कि जनजातीय समाज के लिए समाज के लिए झारखंड वासियों के लिए केंद्र सरकार लगातार प्रयासरत है। उन्होंने कहा कि आज रेल क्रांति का नया अध्याय लिखा है। नई रेल लाइन बिछाने और मौजूदा रेल लाइन में भी बदलाव जारी है। धनबाद-चंद्रपुरा को सुरक्षित स्थानों पर नया रेल लाइन उपलब्ध होगा। देवघर-डिब्रूगढ़ ट्रेन से श्रद्धालु मां कामाख्या की शक्ति की पीठ का दर्शन कर पाएंगे। वाराणसी में कोलकाता से रांची एक्सप्रेस आधारशिला रखी गई है। एक्सप्रेस वे रामगढ़ और बोकारो समेत पूरे झारखंड में आगे जाने की स्पीड को आगे बढ़ने वाला है।
इन योजनाओं का उद्घाटन और शिलान्यास
धनबाद चंद्रपुरा रेल लाइन, टोरी शिवपूरी तीसरी रेल लाइन, मोहनपूर हंसडीहा रेल लाइन, नॉर्थ उरीमारी कोल हैंडलिंग प्लांट, रेट्रो फिटिंग प्रदूषण प्रणाली एफडीजी।
753 करोड़ की रेल योजना
रेल मंत्रालय के अनुसार 753.48 करोड़ की मोहनपुर हंसडीहा रेल लाइन की लंबाई 38.110 किलोमीटर है। इस रेललाइन में पांच स्टेशन मोहनपुर, खड़ियाडीह, हरलाटांड़, ककनी व हंसडीहा है। इस नयी रेललाइन में पहली बार चलने वाली देवघर डिब्रुगढ़ ट्रेन है। यह नयी रेललाइन के चालू होने से देवघर से गोड्डा रेल लाइन से सीधे तौर पर जुड़ जायेगा। देवघर और गोड्डा आने जाने वाले यात्रियों को दुमका व नोनीहाट से गुजरना नहीं पड़ेगा। इस रेल लाइन के चालू होने से यात्रियों के ढाई घंटे की बचत होगी।
देवघर से यह दूसरी ट्रेन शुरू
देवघर से डिब्रुगढ़ तक चलने वाली पूर्वाेत्तर के लिए देवघर से यह दूसरी ट्रेन है। पहली ट्रेन देवघर अगरतला एक्सप्रेस बांका और भागलपुर रूट से चलती है। देवघर से डिब्रुगढ़ ट्रेन का परिचालन मोहनपुर से हंसडीहा होकर चलेगी। इस रूट से ट्रेन का परिचालन होने से देवघर, दुमका व गोड्डा जिले के रेल यात्रियों को सीधे तौर पर सुविधा हो जायेगी।
रेलवे के अनुसार इस रूट से परिचालन होने पर समय की बचत होगी। इस खंड पर इस ट्रेन को चलाने के लिए कोई इंजन रिवर्सल नहीं होगा। साथ ही इस मार्ग से ट्रेन चलने से देवघर, भागलपुर, मुंगेर, खगड़िया व कटिहार जैसे शहर कनेक्ट होंगे। डिब्रुगढ़ से नॉर्थ बैंक होते हुए देवघर तक वर्तमान में कोई सीधी रेल कनेक्टिविटी नहीं है। इस ट्रेन का परिचालन शुरू होने से कनेक्टिविटी हो जायेगी। रेलवे द्वारा जारी समय सारणी के अनुसार सुबह 11 बजे देवघर डिब्रुगढ़ साप्ताहिक ट्रेन देवघर स्टेशन से खुलेगी।
20 सालों से बंद रहा हर्ल से उत्पादन
पिछले 20 सालों से हर्ल कारखाना से उत्पादन बंद था। ऐसे में उद्घाटन के साथ ही रोजगार के नये आयाम खुलेंगे। प्रतिदिन 4,100 मीट्रिक टन इसकी उत्पादन क्षमता हैं। इस साल 10 लाख मीट्रिक टन यूरिया का उत्पादन किया गया। आने वाले वर्ष में निर्धारित लक्ष्य सालाना 12 लाख मीट्रिक टन है।