श्रीनगर। प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने अनुच्छेद 370 हटाए जाने के बाद जम्मू-कश्मीर के अपने पहले दौरे में गुरुवार को आरोप लगाया कि कांग्रेस और उसके सहयोगियों ने अनुच्छेद 370 के नाम पर लोगों को गुमराह किया।
पीएम ने यहां बख्शी स्टेडियम में एक विशाल जनसभा को संबोधित करते हुए कहा, “दशकों तक सियासी फायदे के लिए काँग्रेस और उसके साथियों ने (अनुच्छेद) 370 के नाम पर जम्मू-कश्मीर के लोगों को गुमराह किया, देश को गुमराह किया। 370 से फायदा जम्मू कश्मीर को था, या कुछ राजनीतिक परिवार ही इसका लाभ उठा रहे थे, जम्मू-कश्मीर की अवाम यह सच्चाई जान चुकी है।
”कुछ परिवारों के फायदे के लिए जम्मू-कश्मीर को जंजीरों में जकड़ दिया गया था।”
उन्होंने कहा कि अनुच्छेद 370 हटने के बाद लोगों को उनके बुनियादी अधिकार मिले हैं।
“आज यहाँ सबके लिए समान अधिकार हैं, समान अवसर हैं। पाकिस्तान से आए शरणार्थियों, वाल्मिकी समुदाय की भाई-बहनों, हमारे सफाई कर्मचारियों को वोट देने का अधिकार 70 साल तक नहीं मिला, वो अब मिला है। वाल्मिकी समुदाय को एससी कैटेगरी का लाभ मिलने की वर्षों पुरानी मांग पूरी हुई है। अनुसूचित जनजातियों के लिए विधानसभा में सीटें आरक्षित हुई हैं। ‘पद्दारी जनजाति’, ‘पहाड़ी जातीय समूह’, ‘गड्डा ब्राह्मण’ और ‘कोली’ समुदाय को अनुसूचित जनजाति में शामिल किया गया है।
“हमारी सरकार में पंचायत, नगर पालिका और नगर निगम में अन्य पिछड़ा वर्ग को आरक्षण दिया गया।”
प्रधानमंत्री ने उनके खिलाफ ‘व्यक्तिगत हमले’ करने के लिए ‘इंडिया’ गठबंधन के नेताओं पर भी निशाना साधा। बेहद खुश और भावुक प्रधानमंत्री ने कहा कि पिछले शासक राजवंशों के सदस्य अक्सर कहते हैं कि उनका कोई परिवार नहीं है।
“ये लोग कह रहे हैं कि मोदी का कोई परिवार नहीं है। लेकिन देश इन्हें करारा जवाब दे रहा है। देश के लोग हर कोने में कह रहे हैं- मैं हूँ मोदी का परिवार!, मैं हूँ मोदी का परिवार! मैंने जम्मू-कश्मीर को भी हमेशा अपना परिवार माना है।”
प्रधानमंत्री ने कहा कि 285 ब्लॉकों से करीब एक लाख लोग टेक्नोलॉजी के जरिए उनकी जनसभा को देख रहे हैं। यह वह “नया जम्मू-कश्मीर है, जिसका इंतजार हम सभी को कई दशकों से था। …जिसके लिए डॉ. श्यामा प्रसाद मुखर्जी ने बलिदान दिया था”।
प्रधानमंत्री ने कहा कि पिछली बार वह जम्मू आए थे और 32 हजार करोड़ रुपये की परियोजनाओं का उद्घाटन किया था। और कुछ ही अंतराल के बाद आज उन्होंने नई योजनाओं का उद्घाटन किया है, एक हजार से अधिक युवाओं को नियुक्ति पत्र दिए हैं।
उन्होंने कहा, “जम्मू-कश्मीर केवल एक क्षेत्र नहीं है। जम्मू-कश्मीर भारत का मस्तक है। और ऊंचा उठा मस्तक ही विकास और सम्मान का प्रतीक होता है। इसलिए, विकसित जम्मू-कश्मीर, विकसित भारत की प्राथमिकता है।”
प्रधानमंत्री ने बताया कि सरकार ने हज़रतबल के पवित्र मंदिर के एकीकृत विकास को मंजूरी दे दी है। सरकार ने 40 से ज्यादा ऐसी जगहों की पहचान भी की है, जिन्हें अगले दो साल में टूरिस्ट डेस्टिनेशन के तौर पर विकसित किया जाएगा।
उन्होंने प्रत्येक एनआरआई परिवार से पाँच सदस्यों के साथ भारत यात्रा पर आने की अपील की और कहा कि “कम से कम 5-10 प्रतिशत बजट से कोई न कोई लोकल चीजें खरीदें” ताकि वहां के लोगों की आमदनी और उनका रोजगार बढ़े।
देश में ही डेस्टिनेशन वेडिंग की सलाह देते हुए उन्होंने कहा, “अब मेरा दूसरा मिशन है- ‘वेड इन इंडिया’, शादी हिन्दुस्तान में करो। हिन्दुस्तान के बाहर जो शादी करने के लिए अनाप-शनाप रूपये, डॉलर खर्च करके आते हैं…जी नहीं, ‘वेड इन इंडिया’। यहां तीन-चार दिन बारात लेकर कर आएं, धूमधाम से खर्चा करें, यहां के लोगों को रोजी-रोटी मिलेगी।”
उन्होंने कहा कि पिछले साल रिकॉर्ड तोड़ दो करोड़ से अधिक पर्यटक कश्मीर आए।
उन्होंने गुलमर्ग को देश की शीतकालीन खेल राजधानी बनाने और जम्मू-कश्मीर में खेल के बुनियादी ढांचे और गतिविधियों के विकास के बारे में भी बात की।
पीएम मोदी ने कहा कि वंशवादी शासन और भ्रष्टाचार ने स्थानीय जेएंडके बैंक को बंद होने की कगार पर पहुंचा दिया था।
उन्होंने कहा, “सरकार के निरंतर प्रयासों से आज जेएंडके बैंक फिर से मजबूत हो गया है। इस बैंक का मुनाफा 1700 करोड़ रुपए तक पहुंच रहा है।”
उन्होंने आगामी ‘रमजान’ के पवित्र महीने के लिए देश के लोगों को शुभकामनाएं देते हुए भाषण समाप्त किया। उन्होंने कहा कि यह शांति, खुशी और प्रार्थना का महीना है।
उन्होंने देश के लोगों को शुक्रवार की महाशिवरात्रि की भी शुभकामनाएं दीं।