मुजफ्फरनगर। भाजपा के साथ गठबंधन के बाद रालोद कोटे से विधायक अनिल कुमार को मंगलवार को उत्तर प्रदेश सरकार में कैबिनेट मंत्री बनाया गया। वह सहारनपुर जिले के तहारपुर गांव के मूल निवासी हैं और मुजफ्फरनगर जिले की पुरकाजी विधानसभा सीट का प्रतिनिधित्व करते हैं।
अनिल तीन बार विधायक चुने जा चुके हैं। वे 2007 में पहली बार चरथावल सुरक्षित विधानसभा सीट से विधायक चुने गए और उन्हें 35417 वोट प्राप्त हुए। इसके बाद 2012 में नए परिसीमन के बाद चरथावल को सामान्य सुरक्षित सीट घोषित किया गया और पुरकाजी विधानसभा को सुरक्षित सीट का दर्जा मिला। इसके बाद अनिल कुमार पुरकाजी विधानसभा सीट से बसपा के टिकट पर चुनाव जीतकर दूसरी बार विधायक चुने गए। साल 2017 के विधानसभा चुनाव में अनिल कुमार को भाजपा के प्रमोद ऊंटवाल से हार का सामना करना पड़ा।
साल 2022 के विधानसभा चुनाव में रालोद के टिकट पर सपा के साथ गठबंधन से अनिल कुमार ने पुरकाजी विधानसभा सीट से 92727 वोट प्राप्त कर विधायक चुने गए। प्रदेश सरकार में कैबिनेट मंत्री बनने के बाद उन्होंने कहा कि वह सबसे पहले अपने नेता जयंत चौधरी को धन्यवाद देंगे। यह उनके लिए सौभाग्य की बात की बात है। एनडीए गठबंधन उत्तर प्रदेश में सभी 80 सीटों पर जीत हासिल कर विपक्ष का सफाया करेगा।
गौरतलब है कि भाजपा के साथ गठबंधन के बाद रालोद सुप्रीमो जयंत चौधरी राजनीति में समाजिक समीकरण साधने में लगे हैं। पहले बागपत लोकसभा सीट से पुराने कार्यकर्ता डॉ. राजकुमार सांगवान को प्रत्याशी बनाकर उन्होंने कर्मठ कार्यकर्ताओं को संदेश दिया कि पार्टी पुराने जमीनी कार्यकर्ताओं को भूली नहीं है। इसके साथ ही उन्होंने मीरापुर विधानसभा सीट से विधायक चंदन चौहान को बिजनौर लोकसभा सीट से प्रत्याशी घोषित किया, जो गुर्जर समाज से हैं। अब दलित कोटे से अनिल कुमार को उत्तर प्रदेश सरकार में मंत्री बनवाकर जयंत ने समाजिक समीकरण साधा है।